• कलेक्टर ने ऑक्सीजन की कमी से मौत की बात से किया इनकार भोपाल , सागर , जबलपुर के बाद अब उज्जैन में भी ऑक्सीजन की कमी से मौतें होने लगी हैं । गुरुवार देर रात यहां के आरडी गार्डी अस्पताल में ऑक्सीजन की कमी से 5 मरीजों के मौत का मामला सामने आया है । सभी वेंटिलेटर पर थे । ऑक्सीजन खत्म होने का अलार्म बजने के बाद कलेक्टर ने ऑक्सीजन सिलेंडर भिजवाया । लेकिन ट्रक ड्राइवर सिलेंडर लेकर कहीं और चला गया । इसके बाद दूसरा ट्रक सिलेंडर लेकर भेजा गया , तब तक 5 गंभीर मरीजों की मौत हो गई । आरडी गार्डी अस्पताल के प्रभारी व अपर कलेक्टर सुजान सिंह रावत ने कुछ मरीजों की मौत की बात तो स्वीकार की है , लेकिन ऑक्सीजन की कमी से मौत की बात नहीं मानी । उन्होंने कहा कि रोजाना मरीजों की मौत होती है । आज भी हुई हैं । मैं देख कर बता पाऊंगा कि कितनी मौत आरडी गार्डी अस्पताल में हुई हैं । वहीं , कलेक्टर ने भी ऑक्सीजन खत्म होने से किसी तरह की मौत होने से इनकार किया है । इधर , कोरोना मरीजों की मौत के लिए तय किये गए त्रिवेणी घाट मुक्ति धाम पर काम करने वाले कर्मचारी ने कहा गुरुवार को ही 6 शव लाए गए थे । इनका अंतिम संस्कार कोविड प्रोटोकॉल से किया गया था । अब सवाल उठ रहा है कि यह शव किसके थे , जबकि गुरुवार की बुलेटिन में एक भी मृतक नहीं बताए गए थे । आरडी गार्डी अस्पताल के सूत्रों ने बताया कि रात 3 बजे जैसे ही ऑक्सीजन खत्म होने का अलार्म बजा , वैसे ही उज्जैन कलेक्टर आशीष सिंह को फोन पर जानकारी दी गई । इसके बाद तपोभूमि स्थित प्रदीप ऑक्सीजन वाले के यहां से एक ट्रक ऑक्सीजन लेकर से निकला भी , लेकिन वह उज्जैन शहर से कहीं और चला गया । जब ट्रक नहीं पहुंचा तो आरडी गार्डी अस्पताल के प्रबंधन ने इसकी जानकारी अधिकारियों को दी । दोबारा ट्रक से ऑक्सीजन सिलेंडर आरडी गार्डी अस्पताल भेजी गई । लेकिन तब तक देर हो गई और 5 मरीजों ने दम तोड़ दिया । घटना के समय 120 मरीज ऑक्सीजन पर थे आरडी गार्डी अस्पताल प्रबंधन का दावा है कि जिस ट्रक में ऑक्सीजन रवाना की गई तो उसके पीछे उनका एक डॉक्टर भी अपने वाहन से था । उसे तपोभूमि इसलिए भेजा गया था कि जल्दी ट्रक लेकर आए । उज्जैन आते ही डॉक्टर मुंह धोने चला गया , जब अस्पताल आया तो पता चला कि ऑक्सीजन पहुंची ही नहीं । हालांकि ऑक्सीजन की रसीद भी अस्पताल के नाम की कट चुकी थी । जब अस्पताल में ऑक्सीजन की कमी हुई तब वहां कोरोना के 120 मरीज ऑक्सीजन पर थे । ऑक्सीजन की कमी से मौत की बात गलत इस पूरे मामले पर उज्जैन कलेक्टर आशीष ने कहा कि ऑक्सीजन को लेकर कोई पैनिक होने की जरूरत नहीं है । आरडी गार्डी में आक्सीजन की कमी से 5 मरीजों की मौत की बात गलत है । वहां रात को ऑक्सीजन खत्म होने पर व्यवस्था करा दी गई थी । हालांकि कुछ अस्पताल वालों के पास 2 घंटे की ऑक्सीजन होती है , फिर भी 10 मिनट का बोल कर व्यवस्था बिगड़ रहे हैं । कई अधिकारियों को इसमें लगाया गया है ।
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